
नासिक (महाराष्ट्र) – नासिक के सिडको इलाके में आयोजित हिंदू विराट सभा के दौरान कुख्यात गैंगस्टर लॉरेंस बिश्नोई का बैनर लगाए जाने से राजनीतिक हलचल तेज हो गई है। कार्यक्रम में जैसे ही यह बैनर सामने आया, मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने सख्त रुख अपनाते हुए तत्काल जांच और कार्रवाई के आदेश दिए हैं।
किस कार्यक्रम में हुआ विवाद?
यह सभा पहुलगाम आतंकी हमले और पश्चिम बंगाल में हिंदुओं पर हो रही हिंसा के विरोध में आयोजित की गई थी, जिसमें भाजपा विधायक गोपीचंद पडलकर मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित थे। सभा के दौरान लॉरेंस बिश्नोई का बड़ा पोस्टर दिखाई दिया, जिसे देखकर आयोजकों समेत मंच पर मौजूद लोग हैरान रह गए।
सीएम फडणवीस का कड़ा संदेश
सीएम देवेंद्र फडणवीस ने घटना को गंभीरता से लेते हुए कहा,
“लॉरेंस बिश्नोई जैसे अपराधी का महिमामंडन किसी भी सूरत में बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।”
उन्होंने विधायक पडलकर से इस संबंध में बात की और उन्हें मामले की संपूर्ण जानकारी पुलिस को देने का निर्देश दिया।
मुकदमा दर्ज, जांच जारी
पुलिस ने इस मामले में नासिक के अंबाड पुलिस स्टेशन में अज्ञात व्यक्ति के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया है।
पुलिस की शुरुआती जांच में सामने आया है कि यह विवादित पोस्टर एक नाबालिग लड़के द्वारा लगाया गया था। फिलहाल उस लड़के की पहचान की जा चुकी है, और उससे पूछताछ की जा रही है।
पुलिस ने IPC की उन धाराओं में केस दर्ज किया है जो सार्वजनिक जगह पर भय फैलाने, अशांति भड़काने, और अपराधियों के महिमामंडन से संबंधित हैं।
पोस्टर के पीछे साजिश या लापरवाही?
प्रशासन इस सवाल की भी जांच कर रहा है कि क्या यह पोस्टर किसी सुनियोजित साजिश के तहत लगाया गया या फिर यह केवल एक नाबालिग की नासमझी का परिणाम था। सूत्रों के मुताबिक, सीएम कार्यालय ने इस पूरे मामले की डिटेल रिपोर्ट तलब की है।
सवाल जो उठ रहे हैं:
- क्या सभा आयोजकों को पोस्टर के बारे में पहले से जानकारी थी?
- नाबालिग तक यह पोस्टर कैसे पहुंचा?
- क्या यह एक गैंगस्टर को ‘आइकन’ बनाकर युवाओं को प्रभावित करने की साजिश है?
फडणवीस सरकार का स्पष्ट संदेश:
महाराष्ट्र सरकार ने साफ कर दिया है कि राज्य में किसी भी अपराधी का पोस्टर या प्रचार करने की इजाजत नहीं दी जाएगी, चाहे वह धार्मिक सभा हो या कोई अन्य सार्वजनिक आयोजन।