काठमांडू/पोखरा — नेपाल में तेज हुई हिंसा और उपद्रव के बीच अब तक कई लोगों की जान जाने और करोड़ों की संपत्ति के नुकसान की खबरें आ रही हैं। हिंसक घटनाओं से लोग अपने-अपने घरों में छिपे हुए हैं और सड़कें भयावह दृश्य呈 कर रही हैं। संकट के बीच सोशल मीडिया पर एक भारतीय युवती उपासना गिल का दर्दभरा वीडियो तेजी से वायरल हुआ है, जिसमें उन्होंने तत्काल मदद की अपील की और अपनी भयावह स्थिति का वर्णन किया।
उपासना की आपबीती — होटल में आग, स्पा से भागती हुई जिन्दा निकलीं
उपासना गिल ने वीडियो संदेश में कहा कि वे पोखरा में एक वॉलीबॉल लीग की मेजबानी के लिए आई थीं। उसी दौरान जिस होटल में वे ठहरी थीं, वहाँ हिंसक प्रदर्शनकारियों ने आग लगा दी और उनका सारा सामान जलकर नष्ट हो गया। वीडियो में उपासना बताती दिखती हैं कि वे होटल के स्पा में थीं जब सड़क पर लाठी-डंडे उठाए भीड़ उनके पीछे दौड़ी — वे मुश्किल से अपनी जान बचाकर भागीं।
“मैं भारतीय दूतावास और सरकार से मदद की गुहार लगा रही हूँ,” उपासना ने कहा। “हम यहाँ फंसे हुए हैं। सड़कों पर आग है, प्रदर्शनकारी पर्यटकों को भी नहीं छोड़ रहे — उन्हें फर्क नहीं पड़ता कि कोई विदेशी या पर्यटक है। हालात बहुत भयावह हैं।”
Upasana Gill is Indian. She has gone to Pokhara Nepal to host a volleyball league.
The hotel where she was staying has been burned down by protesters. Upasana is saying that people ran at her with sticks to beat her.
Government of India, please help. pic.twitter.com/8eTbWfzwfd
— Shruti Dhore (@ShrutiDhore) September 10, 2025
परिदृश्य और हिंसा की वजह
स्थानीय और अंतरराष्ट्रीय मीडिया रिपोर्टों के मुताबिक यह आंदोलन सोशल मीडिया पर लगाए गए सरकारी प्रतिबंध के विरोध से शुरू हुआ, लेकिन बहुत जल्दी बड़े स्तर पर फैल गया। विरोध-प्रदर्शनों की तेज़ी के बीच प्रधानमंत्री के इस्तीफे और सोशल मीडिया प्रतिबंध वापस लेने जैसे कदम उठाए गए — फिर भी हिंसा थम नहीं रही। प्रदर्शनकारियों ने कई सरकारी इमारतों, संसद परिसर और नेताओं के आवासों में तोड़-फोड़ और आगजनी की घटनाएँ की हैं।
भारतीय दूतावास व विदेश मंत्रालय की चेतावनी
काठमांडू स्थित भारतीय दूतावास ने भारतीय नागरिकों के लिए यात्रा-एडवाइजरी जारी कर कहा है कि हालात स्थिर होने तक नेपाल की यात्रा टालें। साथ ही दूतावास ने फंसे हुए भारतीयों से संपर्क स्थापित करने, सुरक्षित स्थान पर रहने और अनावश्यक रूप से बाहर न निकलने की सलाह दी है। भारत सरकार के विदेश मंत्रालय ने भी नागरिकों से वही सावधानी बरतने का अनुरोध किया है।
स्थानीय प्रशासन की स्थिति व राहत कार्य
कई क्षेत्रों में कानून-व्यवस्था की स्थिति चिंताजनक बनी हुई है। राहत और बचाव कार्य कठिनाइयों का सामना कर रहे हैं क्योंकि कई मार्ग बाधित हैं और संचार में समस्या आ रही है। Nepali प्रशासन और सुरक्षा बल हिंसा को काबू में लाने के प्रयास कर रहे हैं, पर स्थिति कुछ इलाकों में अभी भी अस्थिर बताई जा रही है।
नागरिक और पर्यटक — सुरक्षा में खलबली
हिंसकता ने विशेषकर पर्यटन-स्थलों को भी निशाना बनाया है; पर्यटक और स्थानीय लोग दोनों ही जोखिम में हैं। प्रभावित क्षेत्रों में फंसे लोगों के निकास और सुविधा-स्थापना की आवश्यकता तीव्र है।