
Bjp will contest in delhi assembly with jdu ljp and tdp nda special plan reads: दिल्ली में जहां एक तरफ इंडिया गठबंधन के दल अलग-अलग चुनाव लड़ने की तैयारी कर रहे हैं, वहीं एनडीए पूरी एकजुटता के साथ अपनी ताकत दिखाने में जुट गया है। भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) राष्ट्रीय राजधानी में गठबंधन के तहत चुनावी रणनीति बना रही है और अपने सहयोगी दलों को सीटें देने पर विचार कर रही है।
इन पार्टियों ने जताई दावेदारी
सूत्रों के मुताबिक, एनडीए के तहत जेडीयू, लोजपा (आर), और जीतन राम मांझी की पार्टी ‘हम’ ने दिल्ली की सीटों पर अपनी दावेदारी पेश की है। इन दलों का प्रभाव दिल्ली की लगभग 20 विधानसभा सीटों पर देखा जाता है, जिनमें गोकलपुर, मटियाला, द्वारका, नांगलोई, करावल नगर, त्रिलोकपुरी, उत्तम नगर, और विकासपुरी जैसी सीटें प्रमुख हैं।
पूर्वांचली और दक्षिण भारतीय मतदाताओं पर फोकस
दिल्ली में पूर्वांचली मतदाताओं की संख्या 20 प्रतिशत से अधिक है। इन्हें आकर्षित करने के लिए नीतीश कुमार, चिराग पासवान, और जीतन राम मांझी प्रचार करेंगे। 2020 के चुनाव में जेडीयू और लोजपा ने समझौते के तहत क्रमशः 2 और 1 सीट पर चुनाव लड़ा था। हालांकि, उन्हें जीत नहीं मिली, लेकिन जेडीयू को 84,000 और लोजपा को 33,000 वोट मिले थे।
दक्षिण भारतीय मतदाताओं को साधने के लिए एनडीए ने एकनाथ शिंदे और चंद्रबाबू नायडु को मैदान में उतारने की योजना बनाई है। दिल्ली में दक्षिण भारतीय मतदाताओं की संख्या करीब 30 लाख है, जिनमें तेलुगु भाषी 8-9 लाख हैं। ये मतदाता मयूर विहार, पटपड़गंज, दिलशाद गार्डन, आरके पुरम, महरौली, और द्वारका जैसे क्षेत्रों में बड़ी संख्या में रहते हैं।
एनडीए की रणनीति
बीजेपी ने अपने सहयोगी दलों के साथ मिलकर इन प्रभावशाली क्षेत्रों में बड़े नेताओं से प्रचार कराने की योजना बनाई है। गठबंधन के सभी प्रमुख नेता चुनावी रैलियों में हिस्सा लेंगे ताकि मतदाताओं को साधा जा सके। एनडीए का यह कदम दिल्ली में मजबूत उपस्थिति बनाने के साथ-साथ विपक्ष के इंडिया गठबंधन को चुनौती देने की दिशा में एक बड़ा प्रयास है।