बिहार में एक बार फिर सत्तारूढ़ एनडीए गठबंधन के नेता नीतीश कुमार ने मुख्यमंत्री पद की शपथ ले ली है। उनके साथ कुल 26 मंत्रियों ने भी पद एवं गोपनीयता की शपथ ली। शपथ ग्रहण समारोह में सबसे अधिक चर्चा जिस नाम की रही, वह था दीपक प्रकाश—जो राष्ट्रीय लोक मोर्चा (RLM) की ओर से मंत्री बनाए गए हैं।
दीपक प्रकाश, RLM प्रमुख और पूर्व केंद्रीय मंत्री उपेंद्र कुशवाहा के बेटे हैं। खास बात यह है कि दीपक न तो वर्तमान में विधायक हैं और न ही विधान परिषद के सदस्य, बावजूद इसके उन्हें मंत्रिमंडल में स्थान दिया गया है।
कौन हैं दीपक प्रकाश?
22 अक्टूबर 1989 को जन्मे दीपक प्रकाश टेक्नोलॉजी और मैनेजमेंट में रुचि रखने वाले युवा नेता हैं। उन्होंने कंप्यूटर साइंस में बैचलर ऑफ इंजीनियरिंग की डिग्री एमआईटी मणिपाल से हासिल की।
2005 में उन्होंने पटना से आईसीएसई बोर्ड से 10वीं उत्तीर्ण की।
2007 में सीबीएसई बोर्ड से 12वीं पूरी की।
2011 में MIT मणिपाल से इंजीनियरिंग की डिग्री लेने के बाद 2013 तक सॉफ्टवेयर इंजीनियर के रूप में कार्य किया।
दीपक ने राजनीति में कदम साल 2019 में रखा था। बिहार विधानसभा चुनाव के दौरान उन्होंने अपनी मां स्नेह लता कुशवाहा के सासाराम सीट से चुनाव प्रचार की पूरी कमान संभाली। स्नेह लता को इस चुनाव में बड़ी जीत मिली, उन्हें 1,05,006 वोट मिले जबकि उनके निकटतम प्रतिद्वंदी RJD उम्मीदवार सत्येंद्र साहा को 79,563 वोट हासिल हुए।
VIDEO | Patna: After taking oath as Bihar Minister, RLM leader Deepak Prakash says, “I would like to thank my leader and father Upendra Kushwaha for giving me this opportunity, and I extend my gratitude to all the leaders and workers of the party. I am getting an opportunity to… pic.twitter.com/5SAImcKgU2
— Press Trust of India (@PTI_News) November 20, 2025
व्यक्तिगत जीवन
सरल और मृदुभाषी स्वभाव वाले दीपक प्रकाश ने प्रेम विवाह किया है। उनकी पत्नी स्मृति मिश्रा भी सक्रिय रूप से उनके साथ चुनाव प्रचार में दिखाई दी थीं।
एनडीए की भारी जीत के बाद सत्ता में वापसी
20 नवंबर को विधानसभा के सेंट्रल हॉल में हुई एनडीए के 202 विधायकों की बैठक में नीतीश कुमार को सर्वसम्मति से विधायक दल का नेता चुना गया। JD(U) ने भी अलग बैठक कर उनके नाम को मंजूरी दी।
इस बार के चुनाव में एनडीए ने प्रभावशाली प्रदर्शन करते हुए 243 में से 202 सीटें जीतकर सत्ता में वापसी की।
चुनाव आयोग के अनुसार सीटों का बंटवारा इस प्रकार रहा:
BJP – 89 सीटें
JD(U) – 85 सीटें
LJP (RV) – 19 सीटें
HAM – 5 सीटें
RLM – 4 सीटें














