
मध्य प्रदेश में बीजेपी और कांग्रेस के बीच राजनीतिक उठापटक लगातार जारी है। 2023 विधानसभा चुनाव में बीजेपी ने शानदार प्रदर्शन करते हुए 100 का आंकड़ा पार कर लिया था, जबकि कांग्रेस दहाई के आंकड़े तक ही सीमित रह गई थी। इसके बाद, सत्ता की ओर बढ़ने की चाह में कांग्रेस के तीन विधायकों ने लोकसभा चुनाव से पहले बीजेपी का दामन थाम लिया।
कांग्रेस के तीन विधायक बीजेपी में शामिल
- कमलेश शाह (अमरवाड़ा):
तीन बार के विधायक कमलेश शाह ने 29 मार्च 2024 को कांग्रेस छोड़कर बीजेपी की सदस्यता ली। उन्होंने विधायक पद से इस्तीफा देकर उपचुनाव लड़ा और बीजेपी के टिकट पर जीत हासिल की। हालांकि, अब तक उन्हें मंत्री पद नहीं मिला है। - रामनिवास रावत (विजयपुर):
छह बार के विधायक रामनिवास रावत ने 30 अप्रैल 2024 को कांग्रेस छोड़कर बीजेपी जॉइन की। उन्हें बीजेपी ने वन मंत्री बनाया, लेकिन 13 नवंबर को हुए उपचुनाव में उन्हें हार का सामना करना पड़ा। 23 नवंबर को परिणाम घोषित होने के बाद उनका मंत्री पद भी चला गया। - निर्मला सप्रे (बीना):
तीसरी विधायक निर्मला सप्रे ने 5 मई 2024 को मुख्यमंत्री मोहन यादव की मौजूदगी में बीजेपी की सदस्यता ली। हालांकि, उन्होंने अभी तक विधायक पद से इस्तीफा नहीं दिया है। कांग्रेस लगातार उनकी सदस्यता रद्द करने की मांग कर रही है, और विधानसभा से उन्हें कई नोटिस भी भेजे जा चुके हैं।
राजनीतिक पटल पर बढ़ती हलचल
विधायक निर्मला सप्रे का इस्तीफा न देने का मामला तूल पकड़ रहा है। कांग्रेस इसे लेकर आक्रामक है, जबकि बीजेपी ने अब तक इस मुद्दे पर चुप्पी साध रखी है। ऐसे में मध्य प्रदेश की राजनीति दिलचस्प मोड़ पर पहुंच चुकी है, जहां अगले कदम पर सभी की निगाहें टिकी हैं।