
जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए भीषण आतंकी हमले की जांच अब राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) ने पूरी तरह अपने हाथ में ले ली है। एजेंसी ने घटनास्थल से मिले सबूतों को फॉरेंसिक जांच के लिए प्रयोगशालाओं में भेज दिया है। साथ ही NIA ने मौके पर मौजूद चश्मदीदों और स्थानीय निवासियों के बयान दर्ज करने की प्रक्रिया भी शुरू कर दी है। इस कार्य में IG, DIG और SP स्तर के वरिष्ठ अधिकारी व्यक्तिगत रूप से शामिल हैं।
बताया जा रहा है कि हमले में मारे गए 26 पर्यटकों के परिजनों के भी बयान जल्द दर्ज किए जाएंगे। इनमें महाराष्ट्र, गुजरात, उत्तर प्रदेश समेत देश के कई राज्यों के लोग शामिल हैं। हमले में घायल लोगों का अस्पतालों में इलाज जारी है।
घटनास्थल और आसपास का इलाका खंगाला जा रहा
सूत्रों के अनुसार, NIA ने बेसरन घाटी के 5 किलोमीटर के रेडियस में मौजूद सभी लोगों की सूची तैयार कर ली है और उनसे पूछताछ का सिलसिला शुरू हो गया है। बेसरन घाटी के एग्जिट और एंट्री पॉइंट्स की विशेष निगरानी की जा रही है। विशेषज्ञों की मदद से घटनास्थल की बारीकी से फॉरेंसिक जांच की जा रही है ताकि आतंकी हमले के पूरे घटनाक्रम (सीक्वेंस) को सही ढंग से समझा जा सके।
आतंकी मॉड्यूल और स्थानीय नेटवर्क पर फोकस
NIA ने जांच का दायरा आतंकी मॉड्यूल, स्थानीय नेटवर्क और संभावित स्लीपर सेल्स तक बढ़ा दिया है। एजेंसी हमले के पीछे छिपे संगठनों और उनके नेटवर्क को बेनकाब करने में जुटी है। जम्मू-कश्मीर पुलिस और अन्य खुफिया एजेंसियां भी जांच में NIA को सक्रिय सहयोग दे रही हैं।
आतंकियों पर बड़ी कार्रवाई, 10 मकान जमींदोज
घाटी में आतंकियों और उनके समर्थकों के खिलाफ बड़ी कार्रवाई भी शुरू कर दी गई है। अब तक 10 आतंकियों के घरों को जमींदोज किया गया है। इसके अलावा, कई संदिग्ध ठिकानों पर छापेमारी की गई है और आतंकियों के मददगारों को पूछताछ के लिए हिरासत में लिया गया है। पूरे क्षेत्र में सुरक्षा कड़ी कर दी गई है, और वाहनों तथा संदिग्ध गतिविधियों की सख्ती से निगरानी की जा रही है।
देशभर में गुस्सा, विरोध प्रदर्शन जारी
22 अप्रैल को हुए इस हमले के बाद पूरे देश में आक्रोश फैल गया है। महाराष्ट्र, गुजरात, उत्तर प्रदेश सहित कई राज्यों में विरोध प्रदर्शन हो रहे हैं। लोग आतंकियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग कर रहे हैं और केंद्र सरकार से कड़ी जवाबी कार्रवाई की अपेक्षा कर रहे हैं।
आगे की रणनीति
NIA हमले से जुड़े हर पहलू की गहनता से जांच कर रही है। एजेंसी जल्द ही इस हमले में शामिल आतंकियों, उनके मददगारों और साजिशकर्ताओं के खिलाफ ठोस सबूतों के आधार पर चार्जशीट दाखिल कर सकती है। केंद्र सरकार ने भी जम्मू-कश्मीर में सुरक्षा व्यवस्था को पुनर्स्थापित करने के लिए हरसंभव कदम उठाने के निर्देश दिए हैं।

VIKAS TRIPATHI
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