इटावा जिले के बकेवर थाना क्षेत्र के दांदरपुर गांव में कथावाचकों मुकुट मणि यादव और संत कुमार सिंह यादव के फर्जी आधार कार्ड मामले ने राजनीतिक और सामाजिक गलियारों में हलचल मचा दी है। दोनों कथावाचकों पर अपनी असली जाति छुपाकर, ब्राह्मण उपनाम के साथ आधार कार्ड बनवाकर, लोगों को गुमराह करने का आरोप है।
फर्जी आधार कार्ड से कथावाचन
ग्रामवासियों के अनुसार, मुकुट मणि यादव ने आधार कार्ड में अपना उपनाम बदलकर ‘अग्निहोत्री’ लिखा था, जबकि उनका असली नाम मुकुट मणि यादव है। दोनों कथावाचकों पर आरोप है कि उन्होंने धर्म के नाम पर भ्रम फैलाकर लोगों को ठगने की कोशिश की।
यादव समाज में आक्रोश
मामला सामने आते ही यादव समाज में भारी रोष फैल गया। यादव समाज के संगठनों के कार्यकर्ताओं ने बकेवर थाने का घेराव किया और जमकर हंगामा किया। ग्रामीणों ने दोनों कथावाचकों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग करते हुए कहा कि इस मामले से सामाजिक सद्भावना को ठेस पहुंची है।
छेड़छाड़ और अन्य आरोप
एक ग्रामीण ने मुकुट मणि यादव पर अपनी पत्नी से छेड़छाड़ करने का भी आरोप लगाया है, जिसके बाद गांव में तनाव उत्पन्न हुआ। घटना के बाद कुछ युवकों ने दोनों कथावाचकों की पिटाई कर दी, जिसका वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया।
पुलिस कार्रवाई
पुलिस ने मुकुट मणि यादव और संत कुमार सिंह यादव के खिलाफ छेड़छाड़, पहचान छुपाने, धार्मिक भावनाओं को आहत करने और धोखाधड़ी जैसी गंभीर धाराओं में FIR दर्ज कर ली है। साथ ही कथावाचकों के साथ मारपीट करने वाले चार अन्य आरोपियों के खिलाफ भी मामला दर्ज किया गया है।
यह मामला सामाजिक तनाव के साथ-साथ धार्मिक आस्था और पहचान के मुद्दे को भी उजागर कर रहा है, जिससे इटावा समेत पूरे उत्तर प्रदेश में चर्चा बनी हुई है।