
Raja Bhaiya’s Appeal at Mahakumbh: Hindu Society Must Awaken for Self-Defense: महाकुंभ में जनसत्ता दल के नेता और कुंडा के विधायक राजा भैया ने एक प्रोग्राम को संबोधित करते हुए हिंदू समाज की वर्तमान स्थिति और चुनौतियों पर अपनी राय रखी। उन्होंने कहा कि यदि पुलिस हटा दी जाए, तो स्थिति भयावह हो सकती है। उन्होंने हिंदू समाज को आत्मरक्षा, वंशवृद्धि और शस्त्र संचय पर जोर देने की आवश्यकता बताई।
शास्त्र और शस्त्र: दोनों जरूरी
राजा भैया ने कहा, “संस्कृति और धर्म की रक्षा केवल शास्त्रों से नहीं हो सकती, इसके लिए शस्त्र भी जरूरी हैं। हमारे देवता भी अस्त्र-शस्त्र से सुसज्जित रहे हैं। भगवान राम, शिव और हनुमान के उदाहरण देते हुए उन्होंने कहा कि शस्त्र धारण करना सनातन धर्म का अभिन्न हिस्सा है।” उन्होंने कहा कि हिंदू समाज को यह सोचना होगा कि वे वंशवृद्धि नहीं कर रहे हैं और उनके पास आत्मरक्षा के लिए शस्त्र भी नहीं हैं।
हिंदू समाज पर हमले और सहिष्णुता
राजा भैया ने हिंदुओं पर हो रहे हमलों और विसर्जन समारोहों पर बाधाओं का जिक्र करते हुए कहा, “भारत ने हमेशा सबको शरण दी, चाहे वह मुसलमान हों, यहूदी हों, या तिब्बती। लेकिन समस्या तब शुरू होती है, जब दूसरे लोग अपने धर्म को थोपने की कोशिश करते हैं।” उन्होंने कहा कि हिंदुओं के साथ धर्म के नाम पर जितनी लूट, बलात्कार और हत्याएं हुईं, उतनी किसी और के साथ नहीं हुई हैं।
सनातन धर्म की महत्ता और शिवाजी से प्रेरणा
महाकुंभ में राजा भैया ने सनातन धर्म को सबसे प्राचीन और श्रेष्ठ बताते हुए कहा कि यह देवताओं का धर्म है। उन्होंने कहा कि पहले कुंभ में राजा अपनी समस्याएं लेकर संतों से समाधान पाते थे और अपने राज्यों में कल्याणकारी योजनाएं लागू करते थे। उन्होंने महाराज शिवाजी का उल्लेख करते हुए कहा कि शिवाजी ने हिन्दवी स्वराज्य की स्थापना की, जो आज भी प्रेरणा का स्रोत है।
इस्लाम से सीखने की बात
राजा भैया ने इस्लाम से सीखने की बात भी कही। उन्होंने कहा कि मुस्लिम समुदाय अपने धर्म के प्रति जितना प्रतिबद्ध और सक्रिय रहता है, वह सराहनीय है। “मस्जिदों में उनकी इबादत धर्म के विस्तार के लिए होती है। हमें भी अपने धर्म के प्रति उतनी ही तत्परता दिखानी चाहिए।” उन्होंने नागा साधुओं और उनकी भूमिका की तारीफ करते हुए कहा कि वे इतिहास में धर्म की रक्षा के लिए खड़े रहे हैं।
शस्त्र बल और आत्मरक्षा की आवश्यकता
राजा भैया ने भारत की सेना और शस्त्र बलों का उदाहरण देते हुए कहा कि देश की सुरक्षा शस्त्रों के कारण है। उन्होंने इजरायल का जिक्र करते हुए कहा कि शस्त्रों के बल पर ही वह अपने अस्तित्व को बचाए हुए है। नागा अखाड़ों के अस्तित्व को धर्म रक्षा का प्रतीक बताते हुए उन्होंने काशी विश्वनाथ मंदिर पर औरंगजेब के हमले का उदाहरण दिया, जिसे नागा साधुओं ने रोका था।
निष्कर्ष: आत्मनिर्भरता और एकजुटता का आह्वान
राजा भैया ने हिंदू समाज से आह्वान किया कि वे आत्मनिर्भरता, एकजुटता और आत्मरक्षा के लिए तत्पर रहें। उन्होंने कहा कि समाज को जागरूक होकर अपने अस्तित्व और संस्कृति की रक्षा के लिए ठोस कदम उठाने होंगे।

VIKAS TRIPATHI
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