नई दिल्ली, रिपोर्ट: बिहार के पूर्व उपमुख्यमंत्री और राजद नेता तेजस्वी यादव के लिए हाल के 24 घंटे परेशानी भरे रहे — उन पर महाराष्ट्र और उत्तर प्रदेश में अलग-अलग शिकायतों के आधार पर मुकदमे दर्ज किए गए हैं। शिकायतकर्ताओं का आरोप है कि तेजस्वी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के खिलाफ सोशल मीडिया पर आपत्तिजनक और अपमानजनक पोस्ट शेयर किया।
क्या हुआ?
महाराष्ट्र के गढ़चिरौली के बीजेपी विधायक मिलिंद रामजी नरोटे की शिकायत के आधार पर गढ़चिरौली पुलिस स्टेशन में मामला दर्ज किया गया है। शिकायत में कहा गया है कि तेजस्वी ने प्रधानमंत्री के विरुद्ध अपमानजनक सामग्री साझा की। शिकायत में भारतीय दंड संहिता की विविध धाराओं का उल्लेख किया गया है।
उसी क्रम में उत्तर प्रदेश के शाहजहांपुर में बीजेपी महानगर अध्यक्ष शिल्पी गुप्ता की शिकायत पर सदर बाजार थाने में भी केस दर्ज कर लिया गया है। शिकायतकर्ता ने कहा है कि प्रधानमंत्री के खिलाफ तेजस्वी की टिप्पणी पूरे देश में असंतोष और आक्रोश बढ़ा रही है, इसलिए सख्त कार्रवाई की मांग की गई है।
तेजस्वी का पोस्ट क्या था?
तेजस्वी यादव ने अपने सोशल मीडिया अकाउंट पर एक कार्टून और टिप्पणी साझा की थी जिसमें प्रधानमंत्री की गया रैली को व्यंग्यपूर्ण लहज़े में “बयानबाजी/झूठ की दुकान” बताया गया था। पोस्ट में मोदी को एक दुकानदार के रूप में दिखाया गया और साथ ही तेजस्वी ने मोदी से बिहार में एनडीए के 20 साल और अपने 11 वर्षों की नीतियों का हिसाब मांगने की बात कही थी। तेजस्वी ने लिखा था कि गया में “झूठ और बयानबाजी की दुकान सजेगी” और बिहार की जनता इन “बयानबाजी के पहाड़ों” का हिसाब लेगी।
पृष्ठभूमि — पीएम का गया भाषण
रैली से पूर्व प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गया की जनसभा में आरजेडी और उसके गठबंधन पर तीखा हमला किया था। उन्होंने इलाके की पूर्व दशा-दिशा और लालों के जमाने के हालात का ज़िक्र कर विपक्ष की नीतियों पर सवाल उठाए। यही राजनीतिक संदर्भ तेजस्वी के व्यंग्य और उसके बाद दर्ज शिकायतों की पृष्ठभूमि बना।
कानूनी व राजनीतिक असर
दोनों मुकदमों के दर्ज होने से तेजस्वी की राजनीतिक मुसीबतें बढ़ने की संभावना है — खासकर चुनावी मोड और वोटर-अधिकार यात्रा जैसे संवेदनशील समय में।
मामले की संवेदनशीलता यह है कि सोशल मीडिया पर व्यंग्य व निंदा अक्सर कानूनी शिकायतों का कारण बनती है; ऐसे मामलों में जांच, नोटिस या समन जैसी कार्रवाइयाँ भी हो सकती हैं।
फिलहाल आरजेडी या तेजस्वी की ओर से इस कार्रवाई पर सार्वजनिक प्रतिक्रिया सामने नहीं आई है / पार्टी का रुख अभी स्पष्ट नहीं है।
अगले कदम
पुलिस द्वारा दर्ज मामलों के बाद आगे क्या कार्रवाई होगी — नोटिस, पूछताछ या कोई अन्य कानूनी प्रक्रिया — यह जांच और संबंधित थाने-प्रशासन की अगली हरकतों पर निर्भर करेगा। राजनीतिक तौर पर भी घटनाक्रम पर पक्षों की प्रतिक्रिया और प्रतिकृति देखने लायक होगी।