लखनऊ/वाराणसी: उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री और समाजवादी पार्टी (सपा) अध्यक्ष अखिलेश यादव की गाड़ी पर ओवरस्पीडिंग के आरोप में 8 लाख रुपये का चालान काटे जाने के बाद उन्होंने राज्य सरकार और सिस्टम पर तीखा हमला बोला। यादव ने इस कार्रवाई को वसूली का साधन बताया और आरोप लगाया कि जो कैमरे और सिस्टम चालान कर रहे हैं, उनके पीछे भाजपा से जुड़े लोग खड़े हैं।
मीडिया से बात करते हुए अखिलेश ने कहा कि उन्हें यह चालान दिखाया गया और वे “खासे नाराज” हैं। उनका कहना था, “आपको पता है कितना है — 8 लाख रुपये। हमें 8 लाख रुपये का चालान देना है। अगर ये चालान देने होंगे तो दे दो, लेकिन कैमरा या सिस्टम चलाने वाले निश्चित तौर पर बीजेपी से जुड़े होंगे। वे पूरे काफिले का चालान काट रहे हैं। मैं इसे ट्रेस करूँगा। मुझे लगता है कि चालान करने वाले लोग मुख्यमंत्री के सजातीय होंगे।”
सरकार पर वसूली का आरोप
यादव ने सरकार पर जनता से लगातार वसूली करने का गंभीर आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि जनता को सुविधाएँ नहीं दी जा रही, जबकि टैक्स और फीस वसूल की जा रही हैं। यादव ने आरोप लगाया कि सत्तारूढ़ भाजपा “पूरा सिस्टम चला रही” है और पुलिस आम लोगों से पैसा वसूल रही है।
“हमें खटारा गाड़ी दी गई”
सपा प्रमुख ने यह भी कहा कि पार्टी नेताओं को जो गाड़ियाँ दी जाती हैं, वे चलने लायक नहीं होतीं। उन्होंने परिस्थिति के प्रति नाराज़गी जताते हुए कहा कि वे ऐसी डोलती-डोलती गाड़ियों में काम नहीं कर सकते।
बीजेपी पर तीखा व्यंग्य—“पहले इस्तेमाल फिर बर्बाद”
बीजेपी पर तीखी टिप्पणी करते हुए अखिलेश ने कहा कि यह पार्टी पहले लोगों का इस्तेमाल करती है और बाद में उन्हें बेरहमी से छोड़ देती है। “बीजेपी किसी की सगी नहीं है,” वे बोले। उन्होंने कहा कि इन्हीं कारणों से वे सरकार की नीतियों और रवैये के खिलाफ मुखर हैं।
केतकी सिंह मामले पर टिप्पणी
बलिया के बीजेपी विधायक केतकी सिंह के संदर्भ में अखिलेश ने कहा कि अगर किसी की बेटी का दुख है तो सरकार को सभी बेटियों के दुख की परवाह करनी चाहिए। उन्होंने आरोप-प्रत्यारोप और दंगे-फसाद के संदर्भ में कटाक्ष भी किया: “आप भूल सकते हैं लेकिन मैं नहीं भूल सकता।”
बलिया में उत्पन्न विवाद और गिरफ्तारी
इसी बीच, बलिया में विधायक केतकी सिंह के खिलाफ फेसबुक पर अश्लील व अपमानजनक टिप्पणियाँ करने के आरोप में तीन लोगों के खिलाफ अलग-अलग मुकदमे दर्ज किए गए हैं। इन टिप्पणियों ने उनके समर्थकों में गुस्सा भड़काया और कानून-व्यवस्था को लेकर चिंता बढ़ा दी है।